हर तरफ चुनावी लहर है. हर नेता अपनी वाहवाही लूटने लुटाने में लगा है. बी टाउन में भी कुछ स्टार्स के लक्षण नेताओं की तरह ही है. कुछ हद से ज्यादा बोलते हैं तो कुछ शांत रहने में यकीन रखते हैं.
सोनम कपूर, मोटर माउथ
सोनम कपूर को बॉलीवुड का मोटर माउथ माना जाता है. जी हां, बी टाउन से लेकर बॉलीवुड के हर स्टार यही कहते हैं कि सोनम कपूर हद से ज्यादा बातें करती हैं और बातें बनाती हैं. उनके पास हर विषय पर कुछ न कुछ बोलने और लोगों को नसीहत देने के लिए काफी कुछ रहता है. वह समय लोगों को सलाह देती नजर आती हैं. वे खुद को अपनी ही आइकन मानती हैं. उन्हें लगता है कि वह जो भी फिल्में करती हैं. वह ऐतिहासिक फिल्में ही बन जायेंगी. वे कई गलतफहमियों में जीती हैं और उन्हें लगता है कि उनका ड्रेसिंग सेंस सबसे अच्छा है.सभी का मानना है कि सोनम अगर कभी पॉलिटिक्स का हिस्सा होती तो लोग उनके भाषण सुन कर थक जाते. इनके अलावा परिणीति चोपड़ा को भी लोग बड़बोली मानते हैं.
अजय देवगन, शांत गुपचुप
भारत में वर्तमान में ऐसे कई लोकप्रिय नेता हैं, जो अपनी चुप्पी की वजह से लोकप्रिय हैं. अजय देवगन भी बॉलीवुड के उन अभिनेताओं में से एक हैं, जिन्हें शांत रहना पसंद हैं. वह फिल्म के दौरान इंटरव्यू में भी नहीं बोलते. जर्नलिस्ट उनके इस व्यवहार से कई सालों से परेशान हैं, लेकिन इसका उन्हें कोई मलाल नहीं. लोगों का मानना है कि इसके बावजूद अजय राजनीति में फिट बैठते क्योंकि भारत में कई नेता हैं, जो शांत रह कर भी कमान संभाले हुए हैं.
द भाईगिरी- चापलुस चंपट ( वरुण, अर्जुन, पुलकित, बिलाल
जिस तरह नेताओं के इर्द गिर्द कई चापलुस घूमते रहते हैं. बॉलीवुड में भी कुछ कलाकार हैं, जो हर वक्त एक ही सूर अलपाते हैं. बॉलीवुड में सबसे ज्यादा नेतागिरी में कोई गिरी लोकप्रिय है तो वह है भाईगिरी. जी हां, कई नये कलाकारों के मसीहा एक ही हैं और कुछ भी हो जाये. माहौल कोई भी हो. मौका कोई भी हो. वे उनका नाम लेना नहीं भूलते. सलमान खान को उनके चाहने वाले भाई ही कह कर बुलाते हैं. वरुण धवन, अर्जुन, पुलकित सम्राट और बिलाल सलमान भाई की तारीफों के पूल बांधना कभी नहीं भूलते.
काजोल- द होम मिनिस्टर
काजोल चूंकि जिस भी काम को करती हैं. वह पूरे समर्पण के साथ करती हैं. सो, बॉलीवुड के लोगों का ही मानना है कि अगर बॉलीवुड में मौका मिले तो वे काजोल को होम मिनिस्टर के रूप में चुनना चाहेंगे. चूंकि काजोल ने घर संभालने के लिए फिल्मों से दूरी बनायी. लेकिन उन्हें इस बात का कोई मलाल नहीं है.
द मम्माज पापाज ब्वॉय-गर्ल
भारत में ऐसे कई नेता हैं, जो मम्माज ब्वॉय और पापाज ब्वॉय और गर्ल बनने की वजह से लोकप्रिय हैं. जिस तरह राजनीति में वह अपनी मां के कहे बगैर एक कदम नहीं बढ़ाते. बॉलीवुड में भी ऐसे कई बच्चे हैं जो अपने मां पापा की लाड़ले हैं. जिनमें रणबीर कपूर का नाम सबसे पहले आता है. इसक े अलावा जैकी भगनानी को भी उनके पिता हमेशा महंगे महंगे खिलौने देकर पुचकारते रहते हैं. सोनाक्षी सिन्हा को भी अपने पापा की बिटिया रानी बने रहने का शौक है.
बेशर्मियत की हद
राजनीति में कुछ नेता ऐसे भी हैं, जो अपनी बेशर्मियत की हद को पार करते रहते हैं और बेफिजूल की बातें करते रहते हैं. फिल्मी व टेलीविजन की दुनिया में भी ऐसे कई कलाकार हैं, जिनमें पूनम पांडे, राखी सावंत जैसे कलाकार प्रमुख हैं.
आंदोलनकारी
संगीतकार विशाल ददलानी, आमिर खान, कल्कि कोचलिन,राहुल बोस, अनुराग कश्यप जैसी शख्सियत फिल्मी दुनिया के आंदोलनकारियों में से एक हैं. राहुल बोस तो स्वंय लोगों के घर जा जा कर लोगों को वोट देने के लिए प्रेरित कर रहे थे.
सोनम कपूर, मोटर माउथ
सोनम कपूर को बॉलीवुड का मोटर माउथ माना जाता है. जी हां, बी टाउन से लेकर बॉलीवुड के हर स्टार यही कहते हैं कि सोनम कपूर हद से ज्यादा बातें करती हैं और बातें बनाती हैं. उनके पास हर विषय पर कुछ न कुछ बोलने और लोगों को नसीहत देने के लिए काफी कुछ रहता है. वह समय लोगों को सलाह देती नजर आती हैं. वे खुद को अपनी ही आइकन मानती हैं. उन्हें लगता है कि वह जो भी फिल्में करती हैं. वह ऐतिहासिक फिल्में ही बन जायेंगी. वे कई गलतफहमियों में जीती हैं और उन्हें लगता है कि उनका ड्रेसिंग सेंस सबसे अच्छा है.सभी का मानना है कि सोनम अगर कभी पॉलिटिक्स का हिस्सा होती तो लोग उनके भाषण सुन कर थक जाते. इनके अलावा परिणीति चोपड़ा को भी लोग बड़बोली मानते हैं.
अजय देवगन, शांत गुपचुप
भारत में वर्तमान में ऐसे कई लोकप्रिय नेता हैं, जो अपनी चुप्पी की वजह से लोकप्रिय हैं. अजय देवगन भी बॉलीवुड के उन अभिनेताओं में से एक हैं, जिन्हें शांत रहना पसंद हैं. वह फिल्म के दौरान इंटरव्यू में भी नहीं बोलते. जर्नलिस्ट उनके इस व्यवहार से कई सालों से परेशान हैं, लेकिन इसका उन्हें कोई मलाल नहीं. लोगों का मानना है कि इसके बावजूद अजय राजनीति में फिट बैठते क्योंकि भारत में कई नेता हैं, जो शांत रह कर भी कमान संभाले हुए हैं.
द भाईगिरी- चापलुस चंपट ( वरुण, अर्जुन, पुलकित, बिलाल
जिस तरह नेताओं के इर्द गिर्द कई चापलुस घूमते रहते हैं. बॉलीवुड में भी कुछ कलाकार हैं, जो हर वक्त एक ही सूर अलपाते हैं. बॉलीवुड में सबसे ज्यादा नेतागिरी में कोई गिरी लोकप्रिय है तो वह है भाईगिरी. जी हां, कई नये कलाकारों के मसीहा एक ही हैं और कुछ भी हो जाये. माहौल कोई भी हो. मौका कोई भी हो. वे उनका नाम लेना नहीं भूलते. सलमान खान को उनके चाहने वाले भाई ही कह कर बुलाते हैं. वरुण धवन, अर्जुन, पुलकित सम्राट और बिलाल सलमान भाई की तारीफों के पूल बांधना कभी नहीं भूलते.
काजोल- द होम मिनिस्टर
काजोल चूंकि जिस भी काम को करती हैं. वह पूरे समर्पण के साथ करती हैं. सो, बॉलीवुड के लोगों का ही मानना है कि अगर बॉलीवुड में मौका मिले तो वे काजोल को होम मिनिस्टर के रूप में चुनना चाहेंगे. चूंकि काजोल ने घर संभालने के लिए फिल्मों से दूरी बनायी. लेकिन उन्हें इस बात का कोई मलाल नहीं है.
द मम्माज पापाज ब्वॉय-गर्ल
भारत में ऐसे कई नेता हैं, जो मम्माज ब्वॉय और पापाज ब्वॉय और गर्ल बनने की वजह से लोकप्रिय हैं. जिस तरह राजनीति में वह अपनी मां के कहे बगैर एक कदम नहीं बढ़ाते. बॉलीवुड में भी ऐसे कई बच्चे हैं जो अपने मां पापा की लाड़ले हैं. जिनमें रणबीर कपूर का नाम सबसे पहले आता है. इसक े अलावा जैकी भगनानी को भी उनके पिता हमेशा महंगे महंगे खिलौने देकर पुचकारते रहते हैं. सोनाक्षी सिन्हा को भी अपने पापा की बिटिया रानी बने रहने का शौक है.
बेशर्मियत की हद
राजनीति में कुछ नेता ऐसे भी हैं, जो अपनी बेशर्मियत की हद को पार करते रहते हैं और बेफिजूल की बातें करते रहते हैं. फिल्मी व टेलीविजन की दुनिया में भी ऐसे कई कलाकार हैं, जिनमें पूनम पांडे, राखी सावंत जैसे कलाकार प्रमुख हैं.
आंदोलनकारी
संगीतकार विशाल ददलानी, आमिर खान, कल्कि कोचलिन,राहुल बोस, अनुराग कश्यप जैसी शख्सियत फिल्मी दुनिया के आंदोलनकारियों में से एक हैं. राहुल बोस तो स्वंय लोगों के घर जा जा कर लोगों को वोट देने के लिए प्रेरित कर रहे थे.
No comments:
Post a Comment