20120314

शॉर्ट फिल्मों का शामियाना

भारत में अब तक जो सम्मान फीचर फिल्मों को प्राप्त है. शॉर्ट फिल्मों को नहीं. इसकी वजह यह है कि अब तक शॉर्ट फिल्में बाजार का हिस्सा नहीं बन पायी हैं. जबकि भारत में आज भी लगभग 500 से अधिक शॉर्ट फिल्में बनती हैं. लगभग सभी फिल्म इंस्टीटयूट के छात्रों द्वारा बेहतरीन शॉर्ट फिल्में बनाई जाती हैं. कई ऐसी फिल्में भी बनती हैं, जिनके विषय बेहद अलग होते हैं. अनोखे होते हैं और कई ऐसे अनछुए पहलुओं पर भी केंद्रित होते हैं. जिन पर हमारा ध्यान कभी नहीं जाता. लेकिन अफसोसजनक बात यह है कि आज भी भारत में ऐसी फिल्में रिलीज नहीं होतीं और इन्हें कोई दर्शक नहीं मिल पाते. कई दर्शकों को तो यह पता भी नहीं होता कि शॉर्ट फिल्में होती कैसी हैं. वे इसे डॉक्यूमेंट्री का ही रूप समझते हैं. जबकि ऐसी कई शॉर्ट फिल्में होती हैं, जो हिंदी फीचर फिल्मों से अच्छी होती हैं. और छोटे अंतराल की होने की वजह से रोचक भी होती है. कुछ ऐसी ही शॉर्ट फिल्मों को दर्शकों तक पहुंचाने की कोशिश में यूटयूब पर एक नये चैनल की शुरुआत की गयी है. शामियाना यूटयूब चैनल द्वारा माइशामियाना चैनल. जहां ंहिंदी फिल्मों की तरह ही शॉर्ट फिल्मों के ट्रेलर अपलोड किये गये हैं. दर्शक इन सभी ट्रेलर को देख सकते हैं और उसके बाद खुद निर्णय ले सकते हैं कि वे कौन सी फिल्में देखें. बॉलीवुड में ट्रेलर या फर्स्ट लुक का प्रचलन वर्षों से चला आ रहा है. फिल्मों के ट्रेलर को रोचक और आकर्षक बनाने के लिए हर संभव प्रयास किये जाते रहे हैं. चूंकि ट्रेलर से ही प्रभावित होकर दर्शक फिल्में देखने आते हैं. उस लिहाज से शामियाना चैनल की शुरुआत करना एक सराहनीय प्रयास है. शामियाना क्लब भारत के कई हिस्सों में है. मुंबई, दिल्ली, बंग्लुरु, चेन्नई, अहमदाबाद, गोवा, गुजरात और यहां तक कि यह नागालैंड में भी मौजूद है. इसकी शुरुआत सायरस दस्तुर ने की थी. और उस वक्त से वे लगातार शॉर्ट फिल्मों को एकत्रित करने की कोशिश में जुटे रहते हैं. शुरुआती दौर में उन्होंने इस चैनल पर फिल्में अपलोड करना शुरू किया था. बाद में उन्होंने महसूस किया कि उन्हें फिल्मों का ट्रेलर भी अपलोड करना चाहिए. दरअसल, यह सच है कि वर्तमान में वही फिल्में दर्शकों को लुभा पाती हैं, जिनके ट्रेलर उन्हें आकर्षक और रोचक लगें. क्योंकि ट्रेलर से ही इस बात का अनुमान लगाया जाता है कि फिल्म की कहानी कैसी होगी. हालांकि अब भी हिंदी में ऐसी कई फिल्में बनती रही हैं, जिनके ट्रेलर तो बहुत अच्छे होते हैं. लेकिन फिल्म देखने के बाद यह एहसास होता है कि फिल्म खोखली है. ऐसे में शॉर्ट फिल्मों के ट्रेलर का यह क्लब एक बेहतरीन माध्यम हो सकता है. लोगों को जागरूक करने के लिए कि शॉर्ट फिल्में भी बनती हैं और अच्छे विषयों पर बनती हैं और लोगों को ऐसी फिल्में भी देकनी चाहिए. खास बात यह है कि इस चैनल पर पूरे विश्व की बेहतरीन फिल्मों के ट्रेलर अपलोड किये जाते हैं. और कुछ ऐसी शॉर्ट फिल्में भी, जिन्हें किसी थियेटर में या डीवीडी में देख पाना संभव नहीं होता. जहां बॉलीवुड फिल्मों को इतनी पब्लिसिटी मिलती है. वैसे में इस तरह के प्रयासों को भी सराहा जाना चाहिए. ताकि सिनेमा में हम लीक से हट कर चीजें देख सकें

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